आपातकालीन स्वास्थ्य सेवा के लिए तैनात किए जाएंगे हेलीकॉप्टर, इन मेडिकल कॉलेजों में बनेगा हेलीपैड
भुवनेश्वर, प्रदेश में कहीं भी भीषण दुर्घटना होने या फिर कोई व्यक्ति दुर्गम स्थान पर हो और उसे आपातकालीन उपचार की जरूरत है, तो राज्य सरकार तत्काल हेलीकॉप्टर के जरिए उन्हें राज्य के प्रमुख अस्पतालों में पहुंचाएंगी। इसके लिए राज्य सरकार एक हेलीकॉप्टर किराए पर लेगी। चार मेडिकल कॉलेजों में हेलीपैड का निर्माण किया जाएगा ताकि हेलीकॉप्टर सेवा को सही तरीके से लागू किया जा सके।
वाणिज्य एवं परिवहन विभाग के एक अधिकारी के अनुसार, मुख्यमंत्री वायु स्वास्थ्य सेवा की तर्ज पर प्रदेश भर में मरीजों को आपातकालीन उपचार उपलब्ध कराने के लिए हेलीकॉप्टर स्वास्थ्य सेवा शुरू होने जा रही है। इस हेलीकॉप्टर में सभी आपातकालीन उपचार के साथ ट्रॉमा केयर सुविधा होगी।
इन अस्पतालों में शुरू होगा हेलीपैड बनाने का काम
इसके लिए भुवनेश्वर एम्स, कटक के एससीबी मेडिकल काॅलेज एवं अस्पताल, संबलपुर के वीर सुरेन्द्र साए इंस्टीट्यूट ऑफ मेडिकल साइंस एंड रिसर्च, बरहमपुर के एमकेसीजी मेडिकल कालेज एंड अस्पताल में हेलीपैड बनाया जाएगा। राज्य सरकार के अधीन रहने वाले तीन मेडिकल काॅलेज में से किसी भी एक मेडिकल काॅलेज में आवश्यकता के अनुसार हेलीकाप्टर को तैनात किया जाएगा। एक महीने पहले हेलीकाप्टर कहां तैनात होगा, उस संदर्भ में वाणिज्य एवं परिवहन विभाग की तरफ से निजी संस्था को अवगत किया जाएगा।
महीने में कम से कम 40 बार उड़ान भरेगा हेलीकॉप्टर
कम से कम 100 नॉटिकल माइल्स या 185 किमी. की दूरी से मरीज को लाने के लिए हेलीकॉप्टर जिस प्रकार से एक बार में उड़ान कर सके, इसके लिए जरूरी इंधन रखने को कहा गया है। हेलीकॉप्टर के महीने में कम से कम 40 घंटे उड़ान भरने की शर्त रखी गई है। इससे कम उड़ान भरने पर भी राज्य सरकार 40 घंटे का शुल्क देगी।
इसी तरह, अधिक उड़ान भरने पर राज्य सरकार प्रति घंटे के हिसाब से पैसा प्रदान करेगी। इसी तरह अगर हेलीकॉप्टर लगातार दो दिन तक उड़ान भरने लायक नहीं रहा, तो निजी कंपनी और एक हेलीकॉप्टर तैनात करेगी। अन्यथा, जुर्माना देना होगा, यह भी शर्त रखी गई है।
इसके अलावा अगर हेलीकॉप्टर क्रैश होता है, तो मरीज और क्रू को 50-50 लाख रुपये देने का बीमा दिया जाएगा। दुर्घटना के कारण तीसरे पक्ष को नुकसान होने की स्थिति में उसे 25 लाख रुपये का भुगतान करने के लिए बीमा करने की शर्त रखी गई है।