स्वास्थ्य

NIRF रैंकिंग में रायपुर एम्स देश का 39वां सर्वश्रेष्ठ चिकित्सा संस्थान; पिछ्ले साल के मुकाबले 10 रैंक की छलांग

रायपुर, अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान रायपुर (AIIMS Raipur) को नेशनल इंस्टीट्यूशनल रैंकिंग फ्रेमवर्क (NIRF) की सर्वश्रेष्ठ चिकित्सा संस्थानों की रैकिंग में 39वां स्थान प्राप्त हुआ है। छत्तीसगढ़ में एम्स रायपुर एकमात्र चिकित्सा संस्थान है जिसे यह रैंक प्राप्त हुई है। केंद्रीय शिक्षा मंत्रालय द्वारा दिल्ली में जारी रैंकिंग में एम्स रायपुर को यह उपलब्धि प्राप्त हुई।

NIRF रैंकिंग के अनुसार एम्स रायपुर को 53.92 स्कोर के साथ 39वां स्थान प्राप्त हुआ है। पिछले वर्ष यह 49वां स्थान था। इस प्रकार एक वर्ष में एम्स ने दस रैंक की प्रगति की है। एनआईआरएफ की रैंकिंग में विभिन्न श्रेणियों जैसे विश्वविद्यालयों, इंजीनियरिंग कालेज, मैनेजमेंट, फार्मेसी, डेंटल, लॉ और अन्य विषयों की श्रेणियों में सभी कालेजों की रैंकिंग तय की जाती है। मंत्रालय स्तर पर तैयार की जाने वाली इस रैंकिंग में विशुद्ध रूप से विभिन्न पैमानों पर संस्थानों की प्रगति का आंकलन किया जाता है जिसमें शिक्षण के लिए उपलब्ध संसाधन, शोध और अन्य शैक्षणिक गतिविधियां, स्नातकों का प्रदर्शन, विभिन्न वर्गों का समावेश और अन्य वर्गों में छवि जैसे पैमाने शामिल होते हैं।

पिछले साल एम्स रायपुर को मिली थी 49वीं रैंक

इस साल एम्स रायपुर को स्टूडेंट स्ट्रेंथ (15.09), छात्र-शिक्षक अनुपात (30), पीएचडी के साथ उच्च शिक्षा प्राप्त शिक्षक और उनका अनुभव (18.94), विश्वविद्यालय की परीक्षा (22.09), विभिन्न क्षेत्रों की भागीदारी (22.57), महिलाओं की भागीदारी (25.36) और दिव्यांगजनों के लिए सुविधाएं (20) पर सर्वाधिक अंक प्राप्त हुए हैं। यह लगातार दूसरा वर्ष है जब एम्स रायपुर को एनआईआरएफ की रैंकिंग में चिकित्सा संस्थानों में प्रथम 50 रैंक प्राप्त हुई है। पिछले वर्ष एम्स रायपुर को 49वीं रैंक प्राप्त हुई थी।

निदेशक प्रो. (डॉ.) नितिन एम. नागरकर ने इस उल्लेखनीय उपलब्धि के लिए सभी शिक्षकों और कर्मचारियों को बधाई देते हुए कहा है कि एम्स द्वारा शोध और अनुसंधान के साथ राष्ट्रीय महत्व के संस्थानों आईआईटी, आईआईएम और एनआईटी के साथ संयुक्त शोध परियोजनाओं पर कार्य किया जा रहा है। शिक्षकों के पेटेंट और शोध पत्र भी लगातार बढ़ रहे हैं। ऐसे में एम्स की यह प्रगति सुखद है। अब राष्ट्रीय परिदृश्य पर एम्स अपनी विशिष्ट पहचान स्थापित करने में सफल हुआ है। उन्होंने इस उपलब्धि के लिए अधिष्ठाता (शैक्षणिक) प्रो. आलोक चंद्र अग्रवाल, उप-निदेशक (प्रशासन) अंशुमान गुप्ता और डॉ. राकेश गुप्ता की संयुक्त प्रयासों के लिए सराहना की है। उन्होंने एम्स को प्रथम 20 चिकित्सा संस्थानों में शामिल करने के लिए सभी से मिलकर प्रयास करने को कहा है।

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