राज्यशासन

STRIKE; ‘हम जीवित हैं, अटल हैं और मैदान से हटे नहीं हैं’, फेडरेशन का पोस्टर जारी, मोदी की गारंटी लागू करने कर्मचारी दिखाएंगे अपनी ताकत

रायपुर, छत्‍तीसगढ़ में इस महीने की 22 तारीख के एक बड़े कर्मचारी आंदोलन की तैयारी चल रही है। इस आंदोलन को लेकर फेडरेशन की तरफ से पोस्‍टर जारी किया गया है, एवं 22 अगस्त को प्रस्तावित काम बंद-कलम बंद आंदोलन को सफल बनाने का आह्वान किया गया है। इसी कडी में 13 अगस्त को तैयारी बैठक आहूत की गई है।

जोश जगाने वाले तीन पोस्‍टर

आंदोलन का आह्वान कर्मचारियों और अधिकारियों के संयुक्‍त संगठन कर्मचारी- अधिकारी फेडरेशन ने किया है। कर्मचारी- अधिकारी फेडरेशन की तरफ आंदोलन को लेकर रविवार को तीन पोस्‍टर जारी किया गया है। तीनों ही पोस्‍टर जोश बढ़ाने वाला है। इसमें मुंशी प्रेमचंद की पंक्तियों का भी उल्‍लेख किया गया है। फेडरेशन की तरफ से जारी पोस्‍टरों में आंदोलन को सफल बनाने का आह्वान करते हुए ‘जागते रहो जगाते रहो’  के साथ ‘न्‍याय चाहिए, न्‍याय’ नारा लिखा है। दूसरे पोस्‍टर में मोदी की गारंटी लागू करो का नारा बुलंद किया गया है। एक बेहद खास पोस्‍टर पर मुंशी प्रेमचंद की पंक्तियां लिखी है- लोग कहते हैं आंदोलन, प्रदर्शन और जुलूस निकालने से क्‍या होता है? इस प्रश्‍न का उत्‍तर मुंशी प्रेमचंद की पंक्तियों में देते हुए लिखा है- इससे सिद्ध होता है कि हम जीवित हैं, अटल हैं और मैदान से हटे नहीं हैं।

  11 सूत्रीय मांगों को लेकर आंदोलन

फेडरेशन के संयोजक कमल वर्मा ने बाताया है कि फेडरेशन के नेतृत्‍व में कर्मचरी- अधिकारी 11 सूत्रीय मांगों को लेकर आंदोलन कर रहे हैं। 22 अगस्‍त को सामूहिक हड़ताल का दूसरा चरण है। इससे पहले 16 जुलाई में प्रदेशभर में प्रदर्शन कर ज्ञापन सौंपा गया था। फेडरेशन की तरफ से मोदी की गारंटी लागू करने की मांग की जा रही है। मोदी की गारंटी का वादा विधानसभा चुनाव के दौरान भाजपा ने प्रदेश के शासकीय सेवकों से किया था।

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