कृषि

इस साल सामान्य से कम बारिश का अंदेशा; देश में अनाज की पैदावार घट सकती है, महंगाई बढ़ने की आशंका

नईदिल्ली, इस साल मानसून सामान्य से कम रहने का अनुमान है। प्राइवेट वेदर एजेंसी स्काईमेट ने सोमवार को मानसून का अनुमान जारी किया है। इससे देश में फूड ग्रेन प्रोडक्शन घट सकता है। प्रोडक्शन कम होने पर महंगाई बढ़ सकती है। स्काईमेट ने जनवरी में भी मानसून के सामान्य से कम रहने का अनुमान लगाया था और अब उसने अपने उसी आउटलुक को बरकरार रखा है।

देश में किसान आमतौर पर 1 जून से गर्मियों की फसलों की बुआई शुरू करते हैं। ये वो समय होता है जब मानसून की बारिश भारत पहुंचती है। फसल की बुआई अगस्त की शुरुआत तक जारी रहती है। सामान्य से कम मानसून के कारण देश में अनाज की पैदावार को नुकसान पहुंच सकता है। मार्च की बेमौसम बारिश से रबी फसल पर भी असर पड़ने की आशंका जताई गई है।

अल नीनो के कारण कम बारिश की संभावना
स्काइमेट के मैनेजिंग डायरेक्टर जतिन सिंह ने कहा, ‘ट्रिपल-डिप-ला नीना के कारण दक्षिण-पश्चिम मानसून में पिछले 4 बार से लगातार सामान्य या सामान्य से अधिक बारिश हुई है। अब, ला नीना समाप्त हो गया है। अल नीनो की मानसून के दौरान बढ़ने की संभावना और बढ़ रही है जिसके कारण बारिश कम होने ही संभावना है।

लॉन्ग पीरियड एवरेज से कम बारिश का अनुमान
स्काईमेट ने बताया कि लॉन्ग पीरियड एवरेज यानी LPA की 94% बारिश हो सकती है। यदि बारिश LPA के 90-96% के बीच होती है तो इसे सामान्य से कम कहा जाता है। यदि मानसून LPA का 96%-104% होता है तो इसे सामान्य बारिश कहा जाता है।

यदि बारिश LPA के 104% से 110% के बीच होती है तो इसे सामान्य से ज्यादा बारिश कहते हैं। 110% से ज्यादा को एक्सेस बारिश कहते हैं। 90% से कम बारिश यानी सूखा पड़ना कहा जाता है। हालांकि, इंडियन मीटियरोलॉजिकल डिपार्टमेंट यानी IMD ने अभी तक बारिश का अनुमान जारी नहीं किया है।

उत्तर और मध्य भारत में कम बारिश के आसार
स्काईमेट के अनुसार देश के नॉर्दन और सेंट्रेल रीजन में कम बारिश होने की सबसे ज्यादा संभावना है। सेंट्रल रीजन गुजरात, मध्य प्रदेश और महाराष्ट्र में जुलाई और अगस्त के महीनों में कम बारिश हो सकती है। वहीं, नॉर्थ इंडिया के पंजाब, हरियाणा, राजस्थान और उत्तर प्रदेश में सीजन के दूसरे भाग में सामान्य से कम बारिश हो सकती है।

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button