रायपुर स्टेशन का कायाकल्प;463 करोड़ की लागत से होगा पुनर्विकास,70 एकड़ में में विस्तार की योजना
रायपुर, रेल मंत्रालय के महत्वाकांक्षी परियोजना के अंतर्गत यात्रियों को विश्वस्तरीय सुविधा प्रदान करने हेतु “अमृत भारत स्टेशन” योजना के अंतर्गत स्टेशनों के कायाकल्प की तैयारी चल रही है । अगस्त 2023 में देश के 500 से अधिक रेलवे स्टेशनों के साथ रायपुर स्टेशन के पुनर्विकास का भी शिलान्यास किया गया । लगभग 70 एकड़ में विस्तृत रायपुर स्टेशन को आने वाले 45 सालों के यात्रियों की संख्या को ध्यान में रख कर इस वृहत कार्य की योजना बनाई गई है ।
रायपुर शहर की इतिहास में रायपुर रेलवे स्टेशन महत्वपूर्ण रूप से जुड़ा हुआ है । जब रायपुर आधुनिक स्टेशन बनेंगा तो इससे एक नया माहौल भी बनेगा । जब देशी विदेशी पर्यटक यहाँ पहुंचेंगे तो यहाँ की तस्वीर उसकी नजरों में यादगार बनेगी । योजना के तहत रायपुर शहर के दोनों किनारों पर उचित एकीकरण के साथ स्टेशन को सिटी सेंटर के रूप में विकसित करने तथा शहर को दोनों तरफ से जोड़ने के लिए मास्टर प्लान तैयार किए जा रहा है । स्टेशन भवन का डिजाइन छतीसगढ़ के स्थानीय संस्कृति, विरासत और वास्तुजकला से प्रेरित होगा ।
वर्तमान में रायपुर स्टेशन से प्रतिदिन लगभग 52,273 यात्रियों का आवागमन हो रहा है, जबकि आने वाले 45 वर्षों में यात्रियों की संख्या प्रतिदिन लगभग 1 लाख 32 हजार के अनुरूप इसे विकसित किया जा रहा है । स्टेशन में प्रवेश एवं निकास के मार्ग अलग-अलग किया जा रहा है, जिससे यात्रियों को भीड़भाड़ का सामना नहीं करना पड़ेगा । काँन्कोर्स में एकसाथ लगभग 760 यात्रियों के बैठने के लिए 3714 वर्ग मीटर वेटिंग एरिया की व्यवस्था है । 1850 से अधिक वाहनों के लिए लगभग 43353 वर्ग मीटर की पार्किंग एरिया का प्रावधान किया गया है । 3 नए फुट ओवर ब्रिज 6 मीटर चौड़ाई का प्रावधान किया गया है । स्टेशन में व्यवसायिक प्रतिष्ठान एवं दुकाने होगी ।
बुजुर्गों तथा दिव्यांग यात्रियों की विशेष सुविधा के लिए 42 लिफ्ट एवं 24 एस्केलेटर बनाए जाएंगे जिससे यात्रियों को एक प्लेटफार्म से दूसरे प्लेटफार्म जाने में आसानी होगी । पार्सल सर्विस मूवमेंट को यात्री आवागमन एरिया से अलग कर एक नए भवन में शिफ्ट किया जाना है । इसके साथ ही पार्सल गोदाम को वर्तमान के 1287 वर्ग मीटर से बढ़ाकर लगभग 3512 वर्ग मीटर किया जाना है ।स्टेशन को विश्वस्तरीय रूप देते हुए ग्रीन स्टेशन का रूप दिया जा रहा है, जहां प्राकृतिक रौशनी और वेंटिलेशन का प्रावधान होगा ।